NEXT 4 अगस्त, 2025 श्रीडूंगरगढ़। स्थानीय अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश सरिता नौशाद ने एक 11 साल पुराने मामले में हत्यारे शिवलाल पुत्र कोजाराम मेघवाल निवासी स्वरूपदेसर जिला बीकानेर को रमणलाल पुत्र गोपालराम मेघवाल निवासी करणीसर बिकान की हत्या के मामले में दोषी करार देते हुए आजीवन कारावास और 20हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनाई है।
प्रकरण के अनुसार, 21 जुलाई, 2014 को मृतक रमणलाल की हत्या सेरुणा के पास मुल्जिम शिवलाल व उसके साथी किशनाराम के द्वारा मिलकर गला घोंटकर हत्या कर दी। जिसकी लाश लावारिश मिलने पर मृतक के भाई जेठाराम ने एक एफआईआर शिवलाल व किशनाराम के विरुद्ध थाना सेरुणा में दर्ज करवाई।
मुल्जिम किशनाराम ने इस घटना के बाद आत्महत्या कर ली और एक सुसाइड नोट किशनाराम के द्वारा लिखा हुआ पुलिस ने जब्त किया। किशनाराम ने उस सुसाइड नोट में लिखा कि हत्या मैंने अकेले ने नहीं की है। किशनाराम के द्वारा सुसाइड करने से उसके विरुद्ध कारवाई समाप्त हुई और प्रकरण शिवलाल के विरुद्ध चला।
लोक अभियोजक सोहननाथ सिद्ध ने आरोपी के विरुद्ध मजबूत दलीलें रखी। अभियोजन पक्ष की ओर से न्यायालय में कुल 16 गवाह पेश हुई और कुल 52 दस्तावेज प्रस्तुत हुए।
पोस्टमार्टम रिपोर्ट के अनुसार, मृतक रमणलाल की हत्या दम घुटने से हुई। न्यायाधीश सरिता नौशाद ने इस प्रकरण में अभियुक्त शिवलाल को हत्या का दोषी मानते हुए आजीवन कारावास की सजा और 20 हजार रुपये के अर्थदंड से दण्डित किया।
अभियोजन (परिवादी) पक्ष के अनुसार, आरोपी शिवलाल मृतक रमणलाल की शादी को लेकर रंजिश रखता था। और इस रंजिश के चलते रमणलाल की हत्या कर दी।